पहली तनख़्वाह
पहली तनख़्वाह विनीता बाडमेरा विनीता बाडमेरा आज फिर उदासी तारी है,यह उदासियां जाती नहीं।करूं तो क्या? कितना मोबाइल,कितना...
पहली तनख़्वाह विनीता बाडमेरा विनीता बाडमेरा आज फिर उदासी तारी है,यह उदासियां जाती नहीं।करूं तो क्या? कितना मोबाइल,कितना...
सोनी पाण्डेय की कविताएँ रोजमर्रा के जीवन अनुभव से उपजी कविताएँ हैं जो हमें उन स्त्रियों के पास ले जाती...
आधुनिक हिंदी कविता को समृद्ध करती कविताएँ राम पांडेय इक्कीसवीं सदी के बीते दो दशकों में अपनी अलग...
हंसा दीप का नाम प्रवासी रचनकारों में महत्वपूर्ण है। वे दीर्घ काल से रचनारत हैं और हिन्दी कहानी के क्षेत्र...
ललन चतुर्वेदी ललन चतुर्वेदी के नए संग्रह यह देवताओं के सोने का समय है का केन्द्रीय भाव देवता नहीं बल्कि...
समकालीन कविता के एक महत्त एवं जरूरी कवि, कथाकार, आलोचक एवं चिंतक जितेन्द्र श्रीवास्तव का आज जन्म दिन है। अनहद...
हिन्दी भाषा के महत्वपूर्ण कवि 'अभिज्ञात' कथा एवं कविता लेखन के क्षेत्र में लगभग चार दशकों से सक्रिय हैं...
डॉ. अभिज्ञात को तीसरा मनीषा त्रिपाठी स्मृति अनहद कोलकाता सम्मान ◆◆ कोलकाता। अनहद कोलकाता और मनीषा त्रिपाठी फाउडेंशन द्वारा स्थापित...
संजय बरुडे मराठी के एक जाने माने हुए कवि हैं । हिन्दी में भी उन्होंने बेहतरीन कविताएँ लिखीं हैं ।...
विशाखा मुलमुले की कविताएँ भावों के एक जादुई वितान मे रचि सुख -दुख और जीवन के रहस्य से पर्दा उठाती...
अनहद कोलकाता साहित्य और कलाओं की प्रतिनिधि वेब पत्रिका है। डिजिटल माध्यम में हिंदी में स्तरीय, विश्वसनीय, सुरुचिपूर्ण और नवोन्मेषी साहित्यिक पत्रिका की आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए ‘अनहद कोलकाता’ का प्रकाशन 2009 से प्रारम्भ हुआ, तब से यह नियमित और अनवरत है। यह पत्रिका लोकतांत्रिक मूल्यों और प्रगतिशील चेतना के प्रति प्रतिबद्ध है। यह पूर्णतः अव्यवसायिक है। इसे व्यक्तिगत संसाधनों से पिछले 12 वर्षों से लागातार प्रकाशित किया जा रहा है। अब तक इसके 500 से भी अधिक एकल अंक प्रकाशित हो चुके हैं।
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